Hanuman Chalisa
Tune into Devotional Melodies
Contemporary Devotional Music: A Harmony of Praise and Devotion
प्रभु जी सबके सिरजन हार
प्रभु जी सबके सिरजन हारतेरे बिना अब कोई नही है,जग का पालन हारजग की प्रीती अज़ब निराली,जाने जानन हारबिन मतलब ना मुख से बो
कहने मे कुछ भी कहे
कहने में कुछ भी कहे,मगर मन मे जानते,बाहर से अनजान है पर,दिल से पहचानते,भटका हुआ राही हूँ में,मंजिल का पता नही,मिले या ना
ये माया तेरी
ये माया तेरी,अजब निराली भगवान,बङे-बङे ॠषियों को लूटा,शूर वीर बलवान,हाड माँस का बना पूतला,ऊपर चढा है चाम,देख-देख सब लोग र
आपको ही आसरो है
आपको ही आसरो है,आपको ही शरणो है,आपके ही चरणो में,जीणो ओर मरणो है,आप ही माता-पिता,कुटुम्ब परिवार हो,भाई बन्धु सखा सहायक,त
जब नयना नीर भरे
जब नयना नीर भरे जब अँखियाँ नीर भरेलूट-लूट दधि माँखन खायो,ग्वाल बाल संग रास रचायो ,जब बंशी की टेर करे जब नयना नीर भरेमात
हे परमेश्वर दीन दयालु
हे परमेश्वर दीन दयालु,भीख दया की दे देना,डोल रही है बीच भँवर मेरी,नैया पार लगा देना,जब कष्ट पङे तुझे याद करू,ओर अनेक फरि
बता दो जगत
बता दो जगत के मालिक,तेरा दीदार कहाँ होंगा,कोई ढूढे है काशी मे,कोई ढूढे है काबे में,पता नही चला किसी को,मेरे सरदार कहाँ ह
आपकी शरण में आया
आपकी शरण में आया,अपनालो दाता मेरे,भटक रहा था जिसके लिये,मिल गए मालिक मेरे ,आप मेरी जिन्दगी हो,मै आपका जीव हूँ ,आप ही साग
इस दुनिया मे रहकर
इस दुनियां मे रहकर,बेशक तु सब कुछ कर,पर पाप कर्म ना कर,उस परमेश्वर से डर,तु पाप कमाएगा,पापी बन जाएगा,पङे नरक की कुण्ड,रो
जम्भेश्वर के दर्शन करने
जम्भेश्वर के दर्शन करने ,चलो सभी नरनारचलो समराथल चालाधोरे ऊपर लगा हुआ जहा,जम्भ गुरू का दरबारचलो समराथल चालागुरू जी के चर
ईस जग मे मानव तन
इस जग मे मानव तन,मुश्किल से मिलता है।हरी का तु भजन करले,ये समय निकलता है।मानव तन हीरा है,गफ़लत मे मत खोना।बिन भजन के ओ प
जाणो- जाणो जम्भेश्वर रे धाम
जाणो-जाणो जम्भेश्वर रे धाम,मुक्ती रोअवसर आवियो ।मिले ना ऐसो अवसर बारम्बार,दर्शन रो अवसर आवियो।।गुरू जी किया-किया प्रहादा
गीता में भी यही लिखा है
गीता में भी यही लिखा है, यही है वेद पुराण मेंक्यों भगवान को दर दर ढूंढे, वो है हर इंसान मेंधरती के कण कण में वो है, पर त
तू दयालु दीं मैं तू दानी मैं भिखारी
तू दयालु दीं मैं तू दानी मैं भिखारी,मैं प्रिशिद पात की तू पाप पुंज हारी,तू दयालु दीं मैं तू दानी मैं भिखारी,नाथ तू अनाथ
मन धीर धरो घबराओ नहीं
मन धीर धरो, घबराओ नहीं, भगवान मिलेंगे, कभी न कभी llभगवान मिलेंगे, कभी न कभी, भगवान मिलेंगे, कभी न कभी lमन धीर धरो,,,,,,,
की कहने की कहने मेरे रामा पीर दे
भजदे ढोल ते छेने सुगना दे वीर दे,की कहने की कहने मेरे रामा पीर दे,धरती नचे अम्बर नचे नच्दे चंद सितारे,एसी किरपा करती बाब
धरो सर पे हाथ
बैकुंठ नाथ धरो सर पे हाथ,हो जाए कृपा जो थारी,हे निकुंज निरंजन दीजो आशीर्वाद,आया शरण मैं तुम्हारी,पग पग राह कठिन हैमन मे
मारन वाले से ज्यादा वो बड़ा बचाने वाला
मारन वाले से ज्यादा वो बड़ा बचाने वाला,उस दुश्मन क्या मारेगा जिसका भगवन रखवाला शावक हांडी में दब गये,भीषण की आग है बाकी,
बिना तुम्हारे कौन उबारे
बिना तुम्हारे कौन उबारे भटकी नाव हमारी किनारा खो गया है,तुम्ही रैया तुम्ही खिवैयाँ किनारा खो गया है,तारण तरिया तुम हो तु
हरि आ जाओ
हरी आ जाओ, इक्क वार, हरी आ जाओ, इक्क वार llहरी आ जाओ, इक्क वार, हरी आ जाओ, इक्क वार llहरी आ जाओ, इक्क वार, हरी आ जाओ, इक
बाबा आँगन पधारो
बाबा आँगन पधारो , दरबार सजायो थारो , करूँ विनती मैं बारम्बार, म्हाने दर्शन दयो एक बार. . . . जोत जगाई बैठया म्हे थारी, ब
सुन ल्यो अर्जा म्हारी
सुन ल्यो अर्जा म्हारी॥ ध्जाबन्द धारी मैं तो आयो हूँ शरण मैं थारी,ध्जाबन्द धारीउजड़ गया नै बाबा ,अब थे हि बसाओ, घर गी म्ह
मोज लगा दी रे
आज खुशी ना मन मैं समावै, म्हारो मन डो नाचै गावै, दुखां री काली छाया म्हारे घर सु हटा दी रे,किरपा कर दी बाबो घर मैं मोज ल
खोजते जिसे स्वयं भगवान
कहां छुपा बैठा है अब तक वह सच्चा इंसान,खोजते जिसे स्वयं भगवान,जिसने रूखा सूखा खाया ,पर न कहीं ईमान गवाया ,उसने ही यह भोग
मन तड़पत हरि दरशन को आज
मन तड़पत हरि दरशन को आज ॥मोरे तुम बिन बिगड़े सकल काज ।आ विनती करत हूँ रखियो लाज ॥तुम्हरे द्वार का मैं हूँ जोगी मेरी
जय जय सुरनायक
ब्रह्मादी देवो द्वारा स्तुति - रामचरितमानस सेशान्ताकारं भुजगशयनं पद्मनाभं सुरेशं,विश्वाधारं गगनसदृशं मेघवर्णम् शुभाङ्गम्
नारायण आया पावणा
छोरिया म्हारी गाओ ये बजाओ गढ़ की गुजरिया म्हारा नारायण का गाओ मंगला चार ,,,म्हारे देव पधारिया पावणा ॥थाने धन्य धन्य म्हा
नारायण नारायण नारायण भजले घडी
नारायण नारायण नारायण,भजले घडी दो घड़ी नायरण,ये नाम बड़ा अनमोल बड़े मीठे इसके बोल,नारायण नारायण नारायण....ये जीवन की सचाई
हरि आ जाओ एक बार
मेरा छोटा सा संसार,हरि आ जाओ एक बार ।हरि आ जाओ हरि आ जाओ,मेरी बिगड़ी आज बना जाओ ॥मेरा छोटा सा संसार....लाखों को दरश दिखा
हे गोविंद हे गोपाल अब तो जीवन हारे
हे गोविन्द हे गोपाल अब तो जीवन हारे ।अब तो जीवन हारे प्रभु शरण है तिहारे... हे गोविंद ॥नीर पीवण हेतु गयो सिन्धू के किनार